BAAL JHAROKHA SATYAM KI DUNIYA HAM NANHE MUNNON KA

Monday, February 24, 2014

' सूरज' मेरा नाम

' सूरज' मेरा नाम
-------------------
मै चंदा का साथी प्यारा
'सूरज' मेरा नाम
उजियारा वो रात में देता
दिन में मेरा काम
चंदा के संग लाख सितारे
सौ सौ सूरज मेरे
चंदो को भी मै चमकाऊँ
दिल के पास जो मेरे
वो शीतल है शांत है हिम सा
मै हूँ आग का गोला
मुझमे गैस भरी है दहके
सबको प्राण मै देता
सुबह सवेरे पूरब से मै
निकलूं तुम्हे जगाऊँ
'लाल' ताम्र से हो जाता मै
जब सब सोता पाऊँ
तुम भी जागो प्राण -वायु लो
अमृत-रस पी जाओ
मुझ सा काम सभी के आओ
जग -रोशन कर जाओ
चंदा को 'मामा' कहते हो
सूरज को क्यों 'लाल'
मुझ सा काम करो तुम 'प्यारे'
तेरा चमके 'भाल'
जब चंदा कि बारी आती
देखो मै ना टांग अड़ाता
'पश्चिम' जा मै सो जाता हूँ
उष्की 'रचना' पर खुश होता !
-------------------------------
सुरेन्द्र कुमार शुक्ल 'भ्रमर'५
६.२५ मध्याह्न -६.४५ मध्याह्न
२३.२.२०१४
करतारपुर , जालंधर , पंजाब



बच्चे मन के सच्चे हैं फूलों जैसे अच्छे हैं मेरी मम्मा कहती हैं तुझसे जितने बच्चे हैं सब अम्मा के प्यारे हैं --